Raj
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Update 105
शिवा की नींद अपने लन्ड पर हिलते पायल की धक्कों से खुल गई ,शिवा के लन्ड पर पायल न जाने कबसे उछलकूद कर रही थी ,उसके चुत के पानी से शिवा की जांघे तक गीली हो गयी थी ,पायल ने शिवा की आंखे खुली देखकर कहा ,लगता है आपका लन्ड भी आपकी तरह सो रहा था ,जाने कबसे उसको अपना माल निकलाने पर लगी हुवीं हु ,पर वो मान ही नही रहा 10 बार अपना पानी छोड़ चुकी हूं में इसकी वजह से ,पायल की इस प्यारी शिकायत को सुनकर शिवाने उसे पलट दिया ,और खुद पायल की चुत में जबरदस्त धक्के लगाने लगा ,उसकी चुत को कुछ ही देरमे अपनी गर्म मलाई से भरकर उसके होठो को चूमकर कहा ,अब खुश हो ना पायल ,हो गई तुम्हारी मन की मुराद पूरी ,पायल ने अपनी आंखें खोल कर शरारत से कहा ,नही अभी पीछे वाली भी मांग रही है ,थोड़ा उसपे भी रहम कर दीजिए ,बाद में अपने पेट को में खुद भर लुंगी ,पायल बहुत ही ज्यादा गर्म करने लगी थी शिवा को अपनी बातों से ,शिवा से इस कदर चुदने वाली वो पहली लड़की थी ,जो बेझिझक अपनी बातें कह देती थी ,शिवाने उसकी बात मानकर तबियत से उसकी गांण्ड को बजाया और उसे भी अपने माल से लभालब कर दिया ,पायल में जलतत्व की ताकद आ जाने से वो शिवा का माल चुत में हो या गांण्ड में बहुत जल्दी सोख लेती थी ,शिवाने पायल की 120 दिन तक चुदाई की समयमनी ,उसके चुत और गांण्ड को अपने माल से भरता ही रहा था वो दिन रात ,पायल ने सैकड़ो बार उसका माल अपने मुह से चूसकर पेट भर के पी लिया था ,जलतत्व की शक्ति आने से और शिवा के हलबी लन्ड से 120 दिन लगातार चुदने से नाजुक सी पायल एकदम बदल गई थी ,जहा उसकी फीगर 34 28 36 की थी वो किसी गदराई औरत की तरह 40 28 42 की हो गयी थी ,शिवा का माल पीकर तो उसका पूरा बदन चमकने लग गया था ,उसकी प्यास को बुझाकर शिवाने उसे समयमनी से बाहर लेकर आ गया ,पायल अपने कपड़े पहनने लगी तो उसकी पैंटी और ब्रा उसे बहुत छोटी होने लगी थी ,उसने शिवा की तरफ देखकर कहा ,अपनी शादी का तो में छिपा लुंगी पर इन दोनों का क्या बोलूंगी ,यह इतने बढ गये है कि सब समझ जाएंगे ,अपनी गांण्ड और चुचिया शिवा को दिखाकर पायल झूठे गुस्से से बोलने लगी थी ,शिवाने उसे नंगी ही अपने बाहो में भरकर उसके गांण्ड को दोनो हाथो से दबाकर कहा ,थोड़े दिन रुक जाओ ,तुम्हारे खानदान में सबसे बड़ी चुचिया और गांण्ड कि मालकिन तुम ही बनने वाली हो ,अभी तो शुरूआत हुवीं है थोड़ा और इंतजार कर लो ,में इन दोनों को 50 का बनाने वाला हु ,
पायल हसकर ,नही अभी यह नही बढ़ने वाले ,बस तुमसे एक दो बच्चे पैदा करने के बाद थोड़े बड़े हो सकते है 2 इंच पर अब जिंदगी भर में ऐसी दिखने वाली हु,
शिवा उसके होठो को चूमकर ,तुमको मुझपर यकीन नही है जो ऐसा बोल रही हो ,मुझे तो पूरा यकिन है यह बढ़ने वाले है मेरी ठुकाई से ,
पायल उसके होठों को बहुत देर तक चूसकर बोली ,मुझे भी पता है आप मानेंगे नही और ना आपका यह मूसल मानने वाला है ,जितना मन करे उतना बड़ा कर दो इन दोनों को ,वैसे भी अब यह मेरे नही तुम्हारे गुलाम हो चुके है ,
शिवा के साथ पायल बहुत देर तक बात करती रही ,उसे अपने जलतत्व की शक्ति का पूरा ज्ञान हो गया था ,उसका इस्तेमाल करने का तरीका भी उसे पता चल गया था ,शिवा के अंदर भी अब जल शक्ति का संचार हो चुका था ,शिवा ने उसे माही और फ़ातिमा के बारे में बता दिया कि उन दोनों से उसे अग्नितत्व की शक्ति मिल गई है ,पायल यह सुनकर बहुत खुश हो गईं,उसने उन दोनों से मिलने की जिद की तो पायल को लेकर शिवा सीधा माही और फ़ातिमा के कमरे में पहुच गया ,जो शिवा के बारे में बात कर रही थी ,अपने सामने शिवा और पायल को देखकर दोनो समज गई कि शिवा ने पायल को अपना बना लिया है ,तीनो एक दुसरे के गले लगकर बहुत खुशी से चहकने लगी ,शिवा ने नेत्रा को भी बुला लिया था ,नेत्रा को देख कर पायल हैरत से उसे देखने लगी ,तो नेत्रा ने उसे बता दिया कि शिवा और काल एक ही है ,और बाकी 4 तत्व की लड़कियां उनकी बहन है ,यह सुनकर पायल और ज्यादा खुश हो गयी ,उसने शिवा से कहा ,आप ने पूजा और मोना को भी पटा लो हम सभी बहने आपको मिलकर बहुत खुश रखेंगे ,शिवा पायल के बात से सकपका गया और हसकर बात को टालने के लिये बोला में थोड़ा काम से बाहर जा रहा हु ,तुम्हे जब घर जाना हो नेत्रा को बोल देना वो तुम्हे घर छोड़ देगी ,माही और फ़ातिमा की चुत की आग और तीन दिन तक शांत रहने वाली थी ,उसके बाद उन दोनों को भी रोज तगड़ी चुदाई की जरूरत पड़ने वाली थी ,पायल की आग कभी नही बुझने वाली थी ,उसे रोज चुदाई की जरूरत पड़ने वाली थी ,हर तत्व की बात अलग थी ,शिवा जितना जल्दी हो सके सभी ताकद को हासिल करने में लगा हुवा था ,उसने नेत्रा को मन मे बोल दिया कि शाम के पाँच बजे वो बलिलोक जाने वाले है ,साथ मे हिमांनी ,कामिनी और शिवानी को भी लेकर जाना है ,आज वो हिमांनी से शादी करने वाला था ,शिवा ने जब पायल को उन तीनों के साथ छोड़कर बाहर आया तब 3 बज रहे थे ,उसने ज्वाला ,सुनीता को समयमनी में 10 दिन तक अपने बड़े लन्ड से मजे दिए ,उसके बाद निता को 30 दिन तक लगातार समयमनी में चोदता रहा ,10 दिन सीमा को समयमनी में चोदकर शिवा एक घण्टे में सर्पलोक जाकर मंदा से मिलकर आ गया ,5 बजे शिवा नेत्रा के साथ बाकी तीनो को लेकर बलिलोक पहुच गया ,वहां पर उसने हिमांनी से शादी कर ली ,शिवा की शादी होने के बाद नेत्रा ,केतकी और शिवानी वापस घर लौट गए ,एक तो बलिलोक में धरती के मुकाबले समय बहुत धीमा होता था ,यहा के 30 दिन यानी धरती का एक घण्टा होता था ,हिमांनी को शिवा आज अपना पूरा वक्क्त देना चाहता था ,हिमांनी से शिवा की ज्यादा बातचीत भी नही होती थी ,लेकिन आज वो शिवा की पत्नी बन चुकी थी ,और शिवा उसे पूरी तरह से अपना बना लेने वाला था ,उसकी ताकद के साथ वो उसकी आत्मा को भी अपना बनाने वाला था ,हिमांनी के सामने ही उसने समयमनी को निकाल कर उसके अंदर दोनो को लेकर आया ,समयमनी के बारे में हिमांनी को बताते हुवे शिवा ने उसे एक बहुत ही सुंदर सी सुहाग की सेज पर बिठा दिया ,हिमांनी बस शिवा की तरफ देख रही थी एकटक ,वो शिवा की बाते सुनती रही बिनाबोले ,शिवा ने हिमांनी के पास बैठकर उसे पूछा, क्या बात है हिमांनी तुम इतनी चुप क्यों हो ,क्या कोई बात से तुम नाराज हो ,कही मुझसे शादी तुमने किसी दबाव में तो नहीं की है ना ,बोलो हिमांनी क्या बात है ,
हिमांनी एकदम शिवा के गले लग कर रोने लगी ,शिवा ने भी उसे रोने दिया ,जब तक वो रोती रही शिवा बस उसकी पीठ को सहलाता रहा बिना कुछ कहे ,हिमांनी का रोना कम होने के बाद शिवा ने उसके आसु भरे चेहरे को बड़े प्यार से पोछ लिया और उसे पीने के लिये पानी दे दिया ,हिमांनी ने वो पानी पीकर फिर शिवा के गले लगकर उसके बाहो में खुद को कसकर पकड़ के बैठ गयी ,मानो वो छोड़ देगी तो शिवा कही भाग न जाये उसे छोड़कर ,शिवा ने उसके सर को बड़े प्यार से सहलाकर कहा ,हिमांनी क्या बात है ,क्या हुवा है तुमको
हिमांनी ,आपसे प्यार हो गया है और में अपने प्यार की बाहो में आकर खुशी महसुस कर रही हु ,मेरी किस्मत में आप जैसा पतीं होगा इस बात का मुझे अभी तक यकीन नही हो रहा है ,
शिवा हसकर ,मेरी कितनी पत्निया है यह तुम जानती हो फिर भी मुझसे शादी करके खुश हो
हिमांनी ,आप खुद की कीमत क्या है यह नही जानते ,आप जैसे इंसान की पत्नी बनना तो भाग्य की बात है ,आप से विवाह करने वाली और आपके साथ रहने वाली हर लड़की भाग्यशाली है ,आप से मिलकर ही में जान पायी की असली मर्द कैसा होता है ,आपसे मिलने से पहले मेंनें सिर्फ वहशी जानवर ही देखे है ,जो अपनी सगी बेटी के लिये भी गलत विचार रखते थे ,भले कुछ प्रजाति में अपनी बेटी से विवाह होता है ,पर हमारे सर्पलोक में ऐसा पाप माना जाता है ,मेरा पिता खुद मेरी शक्ति पाने के लिये मुझसे शादी करने की इच्छा रखता था ,मेंनें पहली बार तुम्हे देखा था तब तुम नेत्रा को छोड़कर चले गए थे ,मुझे यकीन नही था कि तुम विषलोक में कभी वापिस आओगे ,पर तुम वापिस आये ऐसा काम करके जो कोई सोच भी नही सकता ,महानाग बनकर तुमने नेत्रा को ही नही मुझे भी बचा लिया ,तुम कभी खुद की पर्वा नही करते ,दूसरे के दुख दूर करने के लिये तुम एक पल में अपनी जान की बाजी लगा देते हो ,धरती पर आकर तुम्हारे एक एक कारनामे मेंनें अपने नजरो से देखे है ,जो इंसान बस दूसरे को खुशी देना जानता हो ,ऐसा मेरा पति बना है ,तो सोचो में कितनी भाग्यशाली हु ,तुमसे मुंबई के घर मे मौजूद हर लड़की प्यार करती है ,सब तुमपर अपनी जान एक पल में लुटाने को तैयार है ,पर तुम सिर्फ सबकी जिंदगी सवार रहे हो ,इतनी ताकद ,इतनी अद्भुत शक्तिया पाकर भी कभी तुमने उसका इस्तेमाल खुद के भले के लिये नही किया ,शिवाय ने तुम्हारे कहने पर एक दिन में दुनियाभर की दौलत जमा कर ली पर उसका एक पैसा तुमने नही रखा ,सब पैसा गरीबो के लिये खर्च कर रहे हो ,ना पैसे की भूक ,ना दौलत की चाह ,ना औरत के जिस्म की भूख ,आखिर तुम हो कौन ,जो थोड़ा भी मतलबी नही है ,कभी खुद के बारे में सोचा है तुमने ,कभी अपने दिल पर हाथ रख कर पूछा है अपने दिल से क्या चाहता है वो ,कभी खुद के लिये भी जीना नही चाहोगे ,तुम हम सबसे शादी करके हमारी तकलीफ़ खुद के सिर लेकर दुनिया भर से लड़ते हो ,कभी आज तक चैन की नींद भी सोये हो ,नही ,कभी नही ,में तुम्हारी पत्नी बनकर तुम्हारे सुख की नही दुख की भी भागीदार बनना चाहती हु ,
शिवा हिमांनी की बातों से यह समज गया था की हिमांनी उसे दिल से पसन्द करती है ,उसके दिल मे अपनी जगह देख कर शिवा ने उससे कहा ,हिमांनी बहुत सी बातें ऐसी है ,जो में तुम्हे नही बता सकता ,मेरे भी कुछ राज है जो शायद मेंनें सभी से छिपा कर रखे है ,में इतना भी अच्छा और भला नही हु,मुझमे भी बुराइयां है ,बहुत सी कमियां मुझमे भी है जो में दूर करने की हमेशा कोशिश करता हु ,बस में तुम्हे भी जब तक जिंदा हु हमेशा खुश रखने की पूरी कोशिश करूंगा ,तुम्हे कोई तकलीफ ना हो इस बात का में हमेशा ख्याल रखा करूँगा ,
हिमांनी शिवा के आंखों में देखकर बहुत प्यार से कहा ,आप की बनना तो मेरा सपना था जो आज पूरा हो गया है ,बस जिंदगी भर आपके साथ रहू यही में चाहती हु ,
हिमांनी एक नीली नागिन थी जो दुनिया की एकमात्र नागिन थी ,उसके बारे में कोई भी नही जानता था ,ना उसकी शक्तियो के बारे में ,बस एक बात सबको यही पता थी कि हिमांनी में बहुत सी दिव्य शक्तिया है जो उसके शादी के बाद उसके पति और उसे मिलने वाली है ,उसका पति महानाग होगा यह उसके जन्म के वक्त ही तय हो गया था ,या महानाग की पत्नी बनने ही उसने जन्म लिया था ,पर उसके जन्म के हजारो साल बाद महानाग का जन्म हुवा था ,कुदरत का खेल भी बड़ा निराला था ,शिवा की बहुत सी पत्निया उससे पैदा होने से पहले ही जन्म ले चुकी थी ,कुछ का निर्माण उसके लिए हुवा था तो कुछ उसके किस्मत से उसे मिल गई थी ,हर एक पत्नी ने उसे नई ताकद ही दी थी ,हिमांनी तो सबसे अलग थी ,उसकी ताकद और शक्तिया एक रहस्य थी ,शिवा को भी कुछ पता नही था कि उसे हिमांनी से शादी करके कौनसी ताकद मिलने वाली है ,हिमांनी शिवा के घर मे रहकर शिवा के सब कारनामे देख चुकी थी ,उसके मन मे शिवा के लिये एक सन्मान था ,शिवा ने हिमांनी के चेहरे को अपने दोनो हाथो में पकड़कर उसके नरम ग़ुलाबी ओठो को बड़े प्यार से चूमने लगा ,हिमांनी एक बहुत ही खूबसूरत लड़की थी ,वो दुनिया की एकमात्र निलनागिन होने से उसकी सब बातें निराली ही थी ,आज शिवा से मिलन करते वक्त वो अपने असली रूप में आ गयी थी ,पूरे नीले बदन की हिमांनी के बदन की चमक उसे बहुत ज्यादा खूबसूरत बना रही थी ,उसके सिर्फ होठ ही गुलाबी थे ,बाकी सारा बदन नीला था ,उसके दांत तक नीले रंग के थे ,उसके बालो का रंग भी एकदम नीला ही था ,शिवा इस अद्भुत हसीना को देख रहा था ,40 30 44 की उसकी गजब की फीगर ,7 फिट के आसपास उसकी लम्बाई ,एकदम कमाल का कटाव लिया उसका मादक रूप शिवा को भड़काने के लिये काफी था और जब हिमांनी अपने असली रूप में आ गई तब उसकी चुत से निकलती तेज गन्ध से शिवा का दिमाग घूमना शुरू हो गया था ,शिवा ने हिमांनी को एक पल में ही पूरा नंगा कर दिया अपनी माया से ,और खुद भी नंगा हो गया ,हिमांनी के बदन पर उसके होंठ ,उसके निप्पल और चुत का छेद तीनो ग़ुलाबी थे और बाकी सारा बदन एकदम नीला ,शिवा को इस बात का अंदाजा था कि इस कयामत के गांण्ड का छेद भी गुलाबी ही होगा ,शिवा को हिमांनी की चुत की गंध बहुत ज्यादा बैचेन करने लगी थी ,उसने सबसे पहले उन दूध के 40 के साइज के मटकों पे हमला कर दिया ,शिवा किसी भूखे बच्चे की तरह हिमांनी की चुचियो को निचोड़ रहा था ,दोनो चुचिया दबाकर उनके निप्पल को काटकर शिवा ने हिमांनी को भी मदहोश कर दिया था ,हिमांनी की चुत से पानी टपकने लग गया था ,हिमांनी को अपनी चुचिया को इस तरह मसलने से अद्भुत आनंद मिल रहा था ,शिवा ने उसकी चुचिया छोड़के उसके नाक में कबसे उसे आने वाली सुगन्ध की तरफ अपना रुख कर लिया ,किसी बड़ी सी पावरोटी जैसी एकमात्र नीली चुत को शिवा बड़े विस्मय से देख रहा था ,उसने उस चुत के बड़े और मोटे ओठो को चूमकर उसका रस चाट लिया ,हिमांनी के मुह से एक मादक सिसकी निकल गयी ,इस तरह से उसकी चुत पर शिवा की जीभ का स्पर्श ने उसे और मजा आने लगा ,शिवा उसकी चुत को कुते किबतरः चाटने लगा उसके ओठो को फैलाकर अपनी जीभ हिमांनी के गुलाबी छेद में घुस्साकर वो छेड़छाड़ करने लग गया ,हिमांनी मजे से झड़ती गई और शिवा उसके रस को पिता गया ,शिवा ने बहुत बार हिमांनी की चुत को चाट चाट कर ही झड़ंने पर मजबूर करता गया ,हिमांनी के चुत का रस उसे बहुत पसंद आया था ,उसने अपना मन भरने तक इस अनमोल रस को पीता रहा ,शिवा ने हिमांनी के गांण्ड के गुलाबी छेद को भी नही छोड़ा था उसे पी चूम कर चटाकर उसमे अपनी जीभ घुसाकर उसका भी स्वाद ले लिया था ,हिमांनी के चुत और गांण्ड का स्वाद शिवा को बहुत ही भा गया था ,इस हसीना को भोगने के भाग्य उसके नसीब में है इस बात की उसे बहुत खुशी हो रही थी ,शिवा ने हिमांनी को पीठ के बल सुलाकर उसकी चुत पर अपना लन्ड टिका दिया ,शिवा के इस दहकते 20 इंच लम्बे और 12 इंच मोटे लन्ड का हाल भी बुरा हो गया था ,उसे जल्द ही हिमानी के अंदर घुसने की ललक हो रही थी ,शिवा ने हिमांनी की बड़ी सी 44 की गांण्ड को मजबूती से पकड़ कर एक ही जबरदस्त धक्के में अपना लन्ड जड़ तक घुसा दिया ,शिवा के इस हमले को हिमांनी झेल नही सकी उसके मुह से बहुत ही ज्यादा भयानक चीख निकल गई ,शिवा के मूसल ने हिमांनी के नाजुक चुत को पूरा तहस नहस कर दिया था ,उसकी चुत को फाड़कर शिवा का लन्ड जड़ तक अंदर घुस गया था ,हिमांनी के चुत से खून निकल रहा था ,जिसका रंग एकदम नीला ही था ,शिवा का लन्ड उसके खुन को अपने आप सोख रहा था ,शिवा किसी पागल हाथी की तरह हिमांनी को रौंद रहा था ,उसके बदन में अलग ही नशा और जोश भर गया था ,उसके तूफानी धक्के हिमांनी की चीखें निकाल रहे थे ,पर शिवा को उसके दर्द की परवाह ही नही हो रही थी ,वो खुद के होश में ही नही था ,उसपर हिमांनी के चुत का जादू चल गया था ,हिमांनी के चुत का कसाव और गर्मी उसे बहुत ही मजा द्व रही थी ,उसके लन्ड पर हिमांनी के चुत की पकड़ एकदम कसकर हो गयी थी ,शिवा उसके चुत में लम्बे धक्के मारकर अपने लन्ड को और ज्यादा गहराई तक पहुचाने की कोशिश कर रहा था ,हिमांनी को गांड़ का तो उसने अपने मजबूत पंजो से दबादबाकर बुरा हाल कर दिया था ,हिमांनी इस लन्ड के प्रहार से दर्द में ही एक बार झड चुकी थी ,एक बार झड़ंने के बाद उसके दर्द में कुछ कमी हुवीं ,उसे भी अब शिवा के लन्ड के धक्के अपनी चुत में पसन्द आने लगे ,वो भी अपनी गांण्ड उठा उठाकर शिवा का साथ देंने लगी ,हर 10 मिनीट बाद हिमांनी झड जाती शिवा के लन्ड के मार से ,शिवा ने दस बार हिमांनी का पानी एक ही आसन में चोदकर निकाल दिया था ,शिवा का लन्ड आसानी से हिमांनी के चुत में अब अंदर बाहर हो रहा था ,शिवा ने हिमांनी को घोडी बनाकर उसे और बुरी तरीके से चोदना शुरू कर दिया ,हिमांनी को अब शिवा के लन्ड और ज्यादा मजा आने लगा था ,उसकी मुह से मादक सिसकिया निकाल कर वो अपनी खुशी का इजहार करती रही ,शिवा ने दो बार हिमांनी को घोडी बनाकर चोदा और तीसरी बार जब हिमांनी झड़ंगे लगी उस वक्त उसने अपने लन्ड से हिमांनी के चुत में अपनी गर्म मलाई की बौछार कर दी ,शिवा के लन्ड ने बहुत ज्यादा मात्रा में हिमांनी के चुत में अपना माल भर दिया था ,हिमांनी के चुत को इस गर्म गाढ़ी मलाई ने सुकून पहुचा दिया था ,अपने चुत के हर कोने में शिवा के माल को वो महसूस कर रही थी ,उसकी चुत बडे चाव से इस माल को पचाने लग गयी थी ,घोडी बनी हिमांनी के गांण्ड का छोटा सा छेद शिवा के कबसे बैचेन कर रहा था ,उसमे उंगलिया घुसाकर उसकी नरमाई का मजा तो वो कबसे ले चुका था पर उसके लन्ड को उस छेद का मजा लेना था ,शिवा ने अपने लन्ड का माल हिमांनी की चुत में भरने के एक बाद ,एक पल में ही हिमांनी के गुलाबी गांण्ड के छेद को अपने लन्ड के दो धक्के में ही फाड़ दिया था ,शिवा का लन्ड हिमांनी के गांण्ड में जड़ तक घुस कर एकदम खुश हो गया था ,हिमांनी का दर्द से बुरा हाल हो गया था ,अपने चुत के दर्द से वो अभी ही सम्भल पायी थी कि ,शिवा ने उसकी गांण्ड को फाड़कर वापिस उसके मुह से चीखे निकालने शुरू कर दी ,शिवा बिना रुके हिमांनी के गांण्ड को मारता रहा ,बहुत जल्द ही हिमांनी के गांण्ड का दर्द कम हो गया ,वो मजेसे शिवा के लन्ड के धक्के अपने गांण्ड मे लेकर अपनी गांण्ड शिवा के लन्ड पर पटकने लगी ,हिमांनी के गांण्ड को अपने माल से भरकर ही शिवाने दम लिया ,हिमांनी की गांण्ड मारने के बाद शिवा वापिस उसकी चुत पर टूट पड़ा ,हिमांनी के चुत में लन्ड घुस्साकर उसे कुतिया बनाकर शिवा उसे चोदता रहा ,कभी चुत तो कभी गांण्ड शिवा एक पल का भी आराम नही कर रहा था ,ना वो थक रहा था ना हिमांनी तक रही थी ,समय मनी में उनकी चुदाई बस चलते जा रही थी करीब समय मनी 100 साल तक दोनो चुदाई कर चुके थे पर दोनो की हवस कम नही हो रही थी ,200 साल हो जाने के बाद दोनो की हवस थोड़ी कम हो गई पर वो रुके नही जब समयमनी में 300 साल पूरे हुवे तब जाकर दोनो सन्तुष्ट हो गए थे ,हिमांनी की चुत और गांण्ड को शिवा ने अनगिनत बार अपने माल से भरे दिया था ,हिमांनी के चुत का पानी पीकर अपनी प्यास भी वो बूझा चुका था ,साथ मे हिमांनी को अपनी गर्म गाढ़ी मलाई का तो उसने दीवाना बना दिया था ,वो दोनो जब 300 साल समय मनी में गुजारकर बाहर आये तब बलि लोक में 90 दिन हो गए थे ,हिमांनी के रोम रोम में अब शिवा बस गया था ,उसकी हर धड़कन अब बस उसकी ही बन गई थी ,हिमांनी और शिवा बाहर आये शिवा का रूप एक निलनाग मे बदल गया जिसके 100 से ज्यादा सर थे ,हिमांनी भी शिवा की तरह 100 सर वाली नागिन में बदल गई थी ,दोनो में बहुत सी ताकते आ गयी थी ,समयमनी में 300 साल गुजर जाने से दोनो को अपनी सारी ताकद की जानकारी हो गयी थी ,हिमांनी का निर्माण त्रिदेव और त्रिदेवियों ने मिलकर किया था ,उसमे उन सबकी प्राप्त दिव्य शक्तिया थी ,जो अब शिवा की भी हो गयी थी ,जब तक शिवा और हिमांनी को साथ मे नही मारा जाता तब तक वो मर नही सकते थे ,दोनो को एक साथ मारने पर ही वो मर सकते थे ,उन दोनों को मारने के लिये त्रिदेव और त्रिदेवियों ने मिलकर बनाये किसी अस्त्र से ही मारा जा सकता था ,और ऐसे दो अस्रो की जरूरत उन दोनों को मारने के लिये पड़ने वाली थी ,और ऐसा कोई भी शस्र नही बनाया गया था उनके द्वारा ,शिवा और हिमांनी को ना ब्रह्मास्त्र ,नारायणास्त्र और नाही पशूपतीं अस्र नुकसान पहुचा सकते है ,ये तीनो भी अगर एक साथ उनपर छोड़ दिये तो वो नही मर सकते थे ,पर उन दोनों को एक ही व्यक्ति मार सकती है वो है तेजा ,जिसे त्रिदेवियों ने अपने पति से शक्ति लेकर निर्माण किया है ,तेजा एक पल में ही शिवा और हिमांनी को मार सकती है ,शिवा ने हिमांनी से कुछ देर बाते की और उसे धरती पर छोड़ दिया ,धरती पर रात के 9 बजे उसे छोड़कर शिवा पहले 1 घण्टा अश्वलोक गया फिर वहां से सिहलोक 1 घण्टा समय बिताकर वो तेजा के पास गरुड़ लोक चला गया ,वहां 6 घण्टे यानी सिहलोक के 6 साल तेजा और अपने बच्चों के साथ बिताकर वापिस धरती पर आ गया ,आज रात में ही नरगिस और उसका प्रतिरूप दुबई से लौट आए थे ,शिवा अपने कमरे में आने के बाद उसका प्रतिरूप शिवा में समा गया ,आज शिवा ने सोच लिया था कि वो सीमा की दोनो बेटिया और मनीषा और हेमा की बेटीयो से शादी कर लेगा ,6 तत्व की शक्तियां मिलने के बाद वो शिवानी के दर्द को खत्म कर सकेगा ,शिवानी का दर्द दूर करके ही उसे अब आराम मिलने वाला था ।
AWESOME EXCELLENT MIND BLOWING AND INTERESTING UPDATE BHAI