dagadu1985
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Nice updateअध्याय - 7
पूनम अपने घर के सभी कामों को खत्म करके अब सोफे पर बैठ कर टी वी पर एक वेब सीरीज देखना शुरू करती है। आज जो पूनम वेब सीरीज देख रही थी इस तरह की वेब सीरीज उसने पहले नहीं देखी थी क्योंकि 18+ एडल्ट वेब सीरीज थी। अब पूनम उस वेब सीरीज के 2 एपिसोड देखती है जिसमें भयानक मेल और फीमेल एक्टर में जबरदस्त सेक्स हो रहा था। पूनम को पता नहीं था कि ये वेब सीरीज इतनी अश्लीलता से भरी हुई है उसको लगा थोड़ा बहुत होगा पर पूरे एपिसोड में यही चुम्मा चाटी सेक्स ही चल रहा था अब पूनम यह सब देख कर काफी गर्म हो गई थी। उसका हाथ धीमे धीमे उसके मुलायम पेट से होते हुए नीचे की तरफ जा रहा था तभी उसके घर की घंटी बजती है, घंटी की आवाज सुनते ही वो शोक हो जाती है और वो तुरंत उस वेब सीरीज को बंद करके खुद पर कंट्रोल करती है और पूनम अपने घर का दरवाजा खोलने के लिए दरवाजे के पास आती है और दरवाजा खोलती है। पूनम जैसे ही दरवाजा खोलती है उसको सामने कोई नहीं दिखता। अब पूनम बाहर आकर भी देखती है पर उसको कोई नहीं दिखता।
पूनम सोचती है कि कौन होगा जो बेल बजा कर चला गया। पर आजतक ऐसा किसी ने नहीं किया था।, पूनम मन में सोचती है कि हो सकता है कि अड़ोस पड़ोस के कोई बचे होगे जो शरारत कर रहे होगे। फिर पूनम गेट को लॉक करके अंदर आ जाती है ओर अपने बेडरूम में चली जाती है। की तभी वापस घर की घंटी बजती है अब पूनम इस बार थोड़े गुस्से में गेट के पास वापस जाती और जैसे ही गेट खोलती हे वो एक दम से शोक हो जाती है और साथ ही डर जाती है।
उसके गेट पर जो आदमी खड़ा था वो और कोई नहीं कल वाला कुबड़ा भिखारी था। जिसे कल पूनम बालकनी से खड़ी होकर सेड्यूस कर रही थी। उसको देख पूनम मन ही मन खुद को कोसती है कि वो कहा फंस गई। उसको कल एक भिखारी को ऐसे सब नहीं देखना चाहिए था। कल का नतीजा यह था कि आज वो भिखारी उसके घर के गेट तक आ गया। ऐसे कई सवाल पूनम के मन में चल रहे थे कि तभी पूनम थोड़ा हिम्मत रख कर उस भिखारी को पूछती है कि क्या हुआ?
वो कुबड़ा भिखारी कुछ बोलता नहीं है क्योंकि वो तो कबसे पूनम को ऊपर से और नीचे से ऊपर ही देखे जा रहा था। जैसे कि उसका वो आंखों से ही बलात्कार कर देगा। आजतक जिन औरतों की मैगजीन पर फोटो देख देख कर ये कुबड़ा भिखारी अपना लन्ड हिलाता था आज वैसी ही दिखने वाली औरत उसके सामने खड़ी थी। पूनम को देख कर उस भिखारी से खुद पर काबू ही नहीं हो रहा था। उसका तो मन अभी पूनम को पकड़ लेने का हो रहा।
तभी पूनम की आवाज से वो होश में आता है और पूनम के पूछने पर वो अपना फटा हुआ एक थैला आगे करता है। जिसमें कुछ आटा पड़ा हुआ था और कुछ पुराने थोड़े से सड़े हुए फल पड़े थे।
कुबड़ा भिखारी - मैडम कुछ खाने का हो आटा या फल वगैरा हो तो दे दो।
कल से आज पूनम ने उस कुबड़े भिखारी को ध्यान से देखा था। वो भिखारी एक तरफ से थोड़ा सा झुका हुआ था। उसकी एक तरफ से छोटा सा फोड़ा या कूबड़ जैसा निकला हुआ था। उसकी कूबड़ ज्यादा तो नहीं थी पर उसकी वजह से वो थोड़ा सा एक तरफ से झुका हुआ था। जो उसकी शरीर की बनावट एक अजीब और भद्दी सी लग रही थी। पूनम के हिसाब से वो कुबड़ा भिखारी दिखने में कोई 50 - 52 साल तक के बीच का लग रहा था। वैसे वो एक भिखारी था पर एकदम हट्टा कट्टा मोटा सा था। उसका शरीर थुलथुला सा था। उसके चेहरे पर मूंछ नहीं थी पर बालों से भरी लंबी दाढ़ी थी जो बिलकुल अस्त व्यस्त थी। शरीर का रंग एक दम काला और बदबू दार। जिसकी बदबू पूनम की नाक तक आ गई थी।
उस आदमी से दूर रहने के लिए पूनम मिश्रा के लिए यही काफी था। इसके आगे वो ना उसको देखना चाहती थी और ना ही उसकी बदबू सहन कर पा रही थी। पूनम उसको देख कर अपना शादी का पल्लू ठीक करती है।
पूनम - अभी तो कुछ नहीं है। अभी आप आगे जाइए।
भिखारी - अरे मैडम जी इतनी उम्मीद के साथ तुम्हारे दरवाजे तक आया हु। कुछ तो दे दो। इतना बड़ा घर है तेरा।
पूनम - देखिए अभी आप जाइए। जब होगा तब में दे दुगी।
भिखारी - कमाल है मैडम जी आपसे तो कुछ खाने का ही तो मांगा है। कुछ ओर थोड़ी मांगा जो आप ना बोल रही है देने को।
फिर उस भिखारी की चेहरे पर गंदी सी हल्की मुस्कराहट आ जाती है। इधर पूनम समझ रही थी कि ये भिखारी क्या कहना चाहता और ये डबल मीनिंग में बात कर रहा है।
पूनम अब उस भिखारी से बहस नहीं करना चाहती थी और उसको जल्दी से यह निकलना चाहती थी। इसलिए वो मुड़ती है और पास पड़ी डाइनिंग टेबल से उसको एक एप्पल निकाल कर उसके थैले में डाल देती है। भिखारी की नजरें जैसे हे पूनम उसके थैले में एप्पल डाल रही थी उसकी ब्लाउज के दो बूब्स के बीच दिखने वाली क्लीवेज पर ही थी।
भिखारी - धन्यवाद मैडम। वैसे पानी मिलेगा। गर्मी बहुत है तो प्यास लग रही है।
अब तो पूनम को काफी गुस्सा आ रहा था पर उसने इस भिखारी के साथ कोई बात ना करने का ही मन बनाया और साथ पूनम उस कुबड़े भिखारी को देख रही थी तो उसे कल वाली बात भी याद आ रही थी और थोड़ी शर्म भी।
अब पूनम घूम कर रसोई की तरफ जाती है और पीछे से पूनम की बैक को देख कर भिखारी का लन्ड जो पहले से ही खड़ा था अब वो पूरा तन जाता है। उसकी लूंगी में एक तंबू सा बन जाता है। उसका लन्ड उसकी लूंगी फाड़ कर बाहर आने को हो रहा था।अब पूनम जल्दी से पानी का ग्लास ले आती है और जल्दी से भिखारी को देने के लिए अपना हाथ आगे करती है।
अब कुबड़ा भिखारी भी ग्लास को ऊपर से लेने के बजाय नीचे से पकड़ता है जहां से पूनम ने ग्लास को पकड़ रखा था। जैसे ही भिखारी ग्लास को पकड़ता है उसके रफ हाथ की उंगलियां पूनम की उंगलियों को छूती है वैसे ही ये देख पूनम के रोंगटे खड़े हो जाते है। शादी के बाद पहली बार था कि किसी दूसरे आदमी से उसका टच हुआ हो। अब वो भिखारी अपना हाथ ओर आगे बढ़ता है और पानी के ग्लास को पूनम की नरम हथेली सही पकड़ लेता है। पूनम उस भिखारी के रफ कड़क हथेली को महसूस कर पा रही थी। पूनम ग्लास को छोड़ देना चाहती थी पर वो भिखारी ने उससे पकड़ रखा था।
अब हाल यह था कि वह गेट पर कुबड़ा भिखारी और पूनम मिश्रा का पानी के ग्लास को लेकर खड़े थे। अब पूनम की नजरें उस भिखारी के आंखों पर पड़ी। पूनम ऊपर से ही उस भिखारी का ना पता चले ऐसे ही उसकी लूंगी में बना तंबू देख पा रही थी। भिखारी भी एक टक पूनम को देखे जा रहा था। अब सब कुछ मानो रुक सा गया था। ये 10 सेकंड मानो पूनम को कई घंटों के बराबर लग रहे थे।
आज उस कुबड़े भिखारी के पास पूरा मौका था और वो इस मौके को बिल्कुल जाने नहीं देना चाहता था किसी भी कीमत पर। अब जैसे ही कुबड़ा भिखारी अपना दूसरा हाथ पूनम को पकड़ने के लिए आगे करता है तभी पूनम के मोबाइल पर एक कॉल आता है और पूनम झटके से अपना हाथ खींच लेती है और भिखारी को बाहर जाने का बोलती है।
इधर भिखारी को भी समझ नहीं आ रहा थी कि अभी हुआ क्या और वो दो कदम जैसे ही पीछे लेता है वैसे ही पूनम उसको बोलती है - आप पानी पीकर ग्लास को साइड में रख देना।
यह बोल कर घर का मैन दरवाजा बंद कर देती है। इधर भिखारी भी ग्लास से पानी पीकर अपने पैर जोर से जमीन पर मारता है कि आज उसके हाथ से मौका चला गया।