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Funny Dhamakedar News (fake)

Raj_sharma

यतो धर्मस्ततो जयः ||❣️
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एक्स फोरम न्यूज: हिन्दी स्टोरी सेक्शन में आया भूचाल:
werewolf ने की Badsah the tale of debauchery कहानी को बंद करने की घोषणा!

मुंबई: Werewolf, जो अपनी मजेदार कहानियों के लिए मशहूर हैं, ने हाल ही में घोषणा की है कि वे अपनी चर्चित श्रंखला "बादशाह" को खत्म करने जा रहे हैं। उनका कहना है कि इस निर्णय के पीछे का कारण यह है कि पाठक अब लंबे कमेंट्स नहीं करते हैं। इसने लेखक की प्रेरणा को काफी हद तक घटा दिया है।

जब Werewolf ने यह खबर सुनाई, तो पाठकों के बीच खासी हलचल मच गई। खासकर Samar Singh, Rihanna, Avarn, और 69 अन्य पाठक बेहद नाराज हैं।

इनमें से Avarn का कहना है, "क्या हम सिर्फ इसलिए अपने विचार साझा नहीं करेंगे कि लेखक की प्रेरणा कम हो गई? यह तो हमारी स्वतंत्रता का हनन है!"

क्या है पूरा मामला?

Werewolf का आरोप है कि पाठक अब लम्बे कमेंट्स नहीं लिखते, जिससे उन्हें मोटिवेशन मिलना बंद हो गया। उन्होंने यह भी कहा कि वे पाठकों की प्रतिक्रिया का इंतजार कर रहे थे, लेकिन अब उन्हें ऐसा महसूस होता है कि उनकी कहानियों को दरकिनार किया जा रहा है।

इस घोषणा के बाद, Avaran ने तो कमेंट्स न करने वाले पाठकों से अपने पी.एम. में आईडी और पासवर्ड मांगने का फैसला कर लिया है।
वह उन सभी की आईडी से समीक्षा करने की सोच रहे हैं, ताकि पता चल सके कि आखिर लोग क्यों चुप हैं।

पाठकों का नजरिया:

इस घोषणा पर पाठकों का रुख काफी नकारात्मक है। इसे लेकर कई पाठक सोशल मीडिया पर अपने विचार प्रकट कर रहे हैं। एक पाठक ने लिखा, "क्या ये सचमुच एक लेखक का निर्णय है, या ये सिर्फ एक मजाक है?" दूसरा पाठक कहता है, "हमने लंबे कमेंट्स देने की कोशिश की, लेकिन कभी-कभी सोचने का समय नहीं मिलता।"

लेखक का पक्ष:

Werewolf ने अपने निर्णय को स्पष्ट करते हुए कहा, "मैं जानता हूं कि मेरी कहानियाँ मनोरंजन करती हैं, लेकिन जब पाठक खुद को व्यक्त नहीं करते, तो मुझे ऐसा लगता है कि मैं एकतरफा बातचीत कर रहा हूँ।" उन्होंने यह भी जोड़ा कि वह अपने पाठकों की प्रतिक्रिया का सम्मान करते हैं, लेकिन वह एक रचनात्मक लेखक के रूप में अपने हितों की रक्षा करना भी जरूरी समझते हैं।

निष्कर्ष:

इस प्रकार, Werewolf की घोषणा ने सभी को चौंका दिया है। क्या यह सिर्फ एक अल्पकालिक मुद्दा है या वास्तव में पाठकों की कमी के कारण वास्तविकता? यह तो समय ही बताएगा। लेकिन एक बात स्पष्ट है: "बादशाह" कहानी के बिना, पाठकों का मनोरंजन अधूरा रहेगा। अब देखना यह होगा कि Avarn का यह कमेंट्स संग्रह करने का निर्णय किस तरह से आगे बढ़ता है, और क्या पाठक अपने नजरिए में कोई बदलाव लाएंगे।

तो हमारे प्यारे Werewolf के पाठकों, क्या आप हमें बताते रहेंगे, या हमें आपके आईडी और पासवर्ड से आपके लिए कमेंट्स करने के लिए कहना पड़ेगा? यह सवाल विचारणीय है!
 
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Avaran

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एक बार की बात है, एक छोटे से गाँव में जयदीप नाम का एक युवक रहता था। वह बहुत ही नेक दिल और मेहनती था। गाँव में एक और महिला रहती थी, जिसका नाम कामिनी था। कामिनी उम्र में जयदीप से बड़ी थीं, लेकिन उनकी आँखें बहुत गहरी और समझदार थीं। गाँव वाले उन्हें 'बुद्धिमान कामिनी' कहकर बुलाते थे, क्योंकि वह हर समस्या का समाधान बड़ी आसानी से निकाल लेती थीं।


जयदीप अक्सर कामिनी के पास सलाह लेने जाता था। कामिनी हमेशा उसकी मदद करती थीं और धीरे-धीरे जयदीप को उनकी समझदारी और शांत स्वभाव से प्यार हो गया। कामिनी भी जयदीप की सादगी और उसकी नेक दिली से प्रभावित थीं। उन्हें लगता था कि जयदीप में कुछ खास है, जो उसने किसी और पुरुष में नहीं देखा था।


एक दिन, गाँव में एक बड़ा तूफान आया। सभी लोग डर गए थे, लेकिन कामिनी और जयदीप ने मिलकर गाँव वालों की मदद की। उस रात, जब तूफान थोड़ा शांत हुआ, तो जयदीप और कामिनी एक साथ बैठे थे। उनकी आँखों में एक-दूसरे के लिए गहरा सम्मान और प्यार था। जयदीप ने कामिनी का हाथ अपने हाथों में लिया और कहा, "कामिनी जी, मैं आपसे बहुत प्यार करता हूँ।"


कामिनी मुस्कुराईं और उन्होंने भी जयदीप के प्यार को स्वीकार किया। उन दोनों ने एक-दूसरे को गले लगाया और उस रात, उनके प्यार ने तूफानी रात को भी रोशनी से भर दिया।
पूरी रात टपाटप चला, सुबह जब कामिनी उठी तो जयदीप गायब था...:dazed:3 दिन तक ढूँढ कर थक जाने पर जब जयदीप कहीॅ नही मिला तो कामिनी: इस बुढ़ापे मे मुझे अब ऐसा चाहने वाला कहां मिलेगा? :cry:
तभी उसके लहंगे में से आवाज आई: हम अभी जिंदा है:roll:
कामिनी: ये तो मेरे दीपू की आवाज है...

To be cont..........
Deepu be Like - pata nahi aise situation mein sabse kyu Aage Rehta Hu
 
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vihan27

‎ संग्रामः प्रचलति भाग्येन, समयेन, आत्मना ‎ ‎
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एक बार की बात है, एक छोटे से गाँव में जयदीप नाम का एक युवक रहता था। वह बहुत ही नेक दिल और मेहनती था। गाँव में एक और महिला रहती थी, जिसका नाम कामिनी था। कामिनी उम्र में जयदीप से बड़ी थीं, लेकिन उनकी आँखें बहुत गहरी और समझदार थीं। गाँव वाले उन्हें 'बुद्धिमान कामिनी' कहकर बुलाते थे, क्योंकि वह हर समस्या का समाधान बड़ी आसानी से निकाल लेती थीं।


जयदीप अक्सर कामिनी के पास सलाह लेने जाता था। कामिनी हमेशा उसकी मदद करती थीं और धीरे-धीरे जयदीप को उनकी समझदारी और शांत स्वभाव से प्यार हो गया। कामिनी भी जयदीप की सादगी और उसकी नेक दिली से प्रभावित थीं। उन्हें लगता था कि जयदीप में कुछ खास है, जो उसने किसी और पुरुष में नहीं देखा था।


एक दिन, गाँव में एक बड़ा तूफान आया। सभी लोग डर गए थे, लेकिन कामिनी और जयदीप ने मिलकर गाँव वालों की मदद की। उस रात, जब तूफान थोड़ा शांत हुआ, तो जयदीप और कामिनी एक साथ बैठे थे। उनकी आँखों में एक-दूसरे के लिए गहरा सम्मान और प्यार था। जयदीप ने कामिनी का हाथ अपने हाथों में लिया और कहा, "कामिनी जी, मैं आपसे बहुत प्यार करता हूँ।"


कामिनी मुस्कुराईं और उन्होंने भी जयदीप के प्यार को स्वीकार किया। उन दोनों ने एक-दूसरे को गले लगाया और उस रात, उनके प्यार ने तूफानी रात को भी रोशनी से भर दिया।
पूरी रात टपाटप चला, सुबह जब कामिनी उठी तो जयदीप गायब था...:dazed:3 दिन तक ढूँढ कर थक जाने पर जब जयदीप कहीॅ नही मिला तो कामिनी: इस बुढ़ापे मे मुझे अब ऐसा चाहने वाला कहां मिलेगा? :cry:
तभी उसके लहंगे में से आवाज आई: हम अभी जिंदा है:roll:
कामिनी: ये तो मेरे दीपू की आवाज है...

To be cont..........
Gazab likh diye ho Bhai... Mtlb deepu bhopde me chuppa betha raha 3 din Tak...
 
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Gazab likh diye ho Bhai... Mtlb deepu bhopde me chuppa betha raha 3 din Tak...
Ab aayega maja jab wo baahar niklega...:lotpot:
Kaam ras se bhara..
 
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